• Sat. Jan 18th, 2025
Share this

श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के गैस्ट्रोइंट्रोलाॅजिस्ट  ने मरीज़ की आहारनली से निकाला डेंचर

श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के गैस्ट्रोइंट्रोलाॅजिस्ट  ने मरीज़ की आहारनली से निकाला डेंचर,विलम्ब होने पर बड़ा चीरा लगाकर बड़ी सर्जरी करनी पड़ सकती थी आहार नली को जख्मी करने लगा था तीन दातों के साथ भीतर गया डेंचर

श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के गैस्ट्रोइंट्रोलाॅजिस्ट डाॅ अमित सोनी ने एक 52 वर्षीय पुरुष मरीज़ की आहार नली से तीन दांतों का डेंचर सफलतापूर्वक निकाला

देहरादून।

 

श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के गैस्ट्रोइंट्रोलाॅजिस्ट डाॅ अमित सोनी ने एक 52 वर्षीय पुरुष मरीज़ की आहार नली से तीन दांतों का डेंचर सफलतापूर्वक निकाला। दुर्घटनावश मरीज़ ने डेंचर सहित तीन दांत निगल लिए थे। डाॅ सोनी ने एंडोस्कोपी की मदद से सफलतापूर्व मूंह के रास्ते डेंचर को बाहर निकाला। डेंचर आहार नाल को जख्मी करने लगा था। यदि समय रहते डेंचर को नहीं निकाला जाता तो मरीज़ का बड़ा ऑपरेशन कर डेंचर को बाहर निकालना पड़ता। श्री महंत इन्दिरेश अस्पताल के चेयरमैन श्रीमहंत देवेन्द्र दास जी महाराज ने डाॅक्टरों व अन्य सहायक टीम को सफल मेडिकल प्रोसीजर पर शुभकामनाएं दीं।

देहरादून निवासी 52 वर्षीय मरीज़ राकेश मोहन की आहार नाल में दुर्घटनावश तीन दांतों सहित डेंचर फंस गया था। मरीज़ को दिल सम्बन्धित परेशानी होने की वजह से डाॅक्टरों को डेंचर निकालने के मेडिकल प्रोसीजर को करने की बड़ी चुनौती थी। डाॅ अमित सोनी ने एंडोस्कोपी के द्वारा आहार नाल से तीन दातों सहित डेंचर को मूंह के रास्ते बाहर निकाला। यदि समय रहते आहार नाल से डेंचर व दांत न निकाले जाते, तो फूड पाइप फट सकता था व मरीज़ की जान का जोखिम भी हो सकता था। डाॅ अमित सोनी ने कहा कि जिन लोगों को एक दो या तीन दांतों का डेंचर लगा होता है, उन्हें सावधानी बरतनी चाहिए। यह छोटे छोटे डेंचर गले में निगल लिए जाने व दुर्घटनावश प्रवेश कर जाने की दृष्टि से बेहद संवेदनशील होते हैं। डाॅक्टर अमित सोनी ने अपने संदेश में कहा कि जिन मरीजों के छोटे डेंचर लगे होते हैं उन्हें बहुत सावधानी रखनी चाहिए l अगर किसी के साथ ऐसा होता है तो उसे तुरंत गैस्ट्रोएंटेरोलॉजिस्ट से सलाह लेनी चाहिए।

Share this

By admin

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You missed